कार्लोस अल्काराज़ ने दो साल लगातार फ़्रेंच ओपन जीतकर बनाया इतिहास

कार्लोस अल्काराज़ ने दो साल लगातार फ़्रेंच ओपन जीतकर बनाया इतिहास
Anindita Verma सित॰ 26 6 टिप्पणि

पेरिस के रोइलर १२ कोट में टेनिस प्रेमियों ने एक अपराजेय नाट्य सत्र देखा जब 22‑साल के स्पेनिश खिलाड़ी कार्लोस अल्काराज़ ने अपने प्रतिद्वंद्वी इटालियन जैनिक सिन्नर को पाँच सेटों में मात दी। 4‑6, 6‑7(4‑7), 6‑4, 7‑6(7‑3), 7‑6(10‑2) जैसे कपट भरे स्कोर के साथ खेलते हुए अल्काराज़ ने इतिहास रच दिया, क्योंकि यह फ़्रेंच ओपन की अब तक की सबसे लंबी फाइनल बन गई, कुल मिलाकर 5 घंटे 29 मिनट तक चली।

मैदान में दंगल: अल्काराज़ बनाम सिन्नर

सत्र की शुरुआत से ही सिन्नर ने दबदबा बनाया। ऑस्ट्रेलिया ओपन और यूएस ओपन के बाद 20‑मैच की ग्रैंड स्लैम जीत की लकीर पर चल रहे इटालियन ने पहले दो सेट 6‑4 और 7‑6(7‑4) से जीतकर अल्काराज़ को भारी दबाव में डाल दिया। दो सेट की गिरावट के बाद अधिकांश विशेषज्ञों ने सोचा कि स्पेनिश उभरते सितारे की राह खत्म हो रही है। लेकिन अल्काराज़ ने अपनी प्रतिबद्धता नहीं छोड़ी।

तीसरा सेट उतार-चढ़ाव से भरपूर था। अल्काराज़ ने तेज़ रिटर्न, टॉपस्पिन और तेज़ पैरों से सिन्नर की सर्विस को तोड़ने की कोशिश की। 6‑4 के साथ वह अपने यूएस ओपन जीत की याद दिलाते हुए फिर से बैक ऑन द बोर्ड आया। चार्ज का असली मोड़ चौथे सेट में आया जब सिन्नर 5‑3 के लाभ पर था और 40‑0 से तीन लगातार चैंपियनशिप पॉइंट पर खड़ा था। यहां अल्काराज़ ने बड़ा साहस दिखाते हुए सभी तीन मैच पॉइंट बचाए, फिर टाई‑ब्रेक में 7‑3 से जीत हासिल करके मैच को बराबर कर दिया।

पाँचवाँ सेट तनाव के चरम पर पहुंचा। सिन्नर ने 5‑4 पर सर्विस रखी, लेकिन अल्काराज़ ने वही दबाव डाला और टेनिस कोर्ट पर हर बॉल को एक नई संभावनाओं की तरह खेला। दोनों खिलाड़ियों ने एक‑एक बार सर्विस एवर सीज़न की ओर बढ़ते हुए जीत का मौका खो दिया। अंत में टाई‑ब्रेक आया, जहाँ अल्काराज़ ने 10‑2 से गुप्त दागा और अपना दूसरा लगातार फ़्रेंच ओपन खिताब सुरक्षित किया।

इतिहास और रिकॉर्ड की नई परिभाषा

इतिहास और रिकॉर्ड की नई परिभाषा

यह जीत अल्काराज़ के करियर में कई मीले के पत्थर रखती है। वह ओपन युग में केवल तीसरे खिलाड़ी बनते हैं जिन्होंने चैंपियनशिप पॉइंट के बाद भी टेनिस ग्रैंड स्लैम जीत ली, गैस्टॉन गाउडियो (2004) और नोवाक जोकोविच (2019) के बाद। इसके अलावा दो सेट से पीछे रहकर फ्रेंच ओपन फाइनल जीतना अभी तक के इतिहास में छठा मामला है।

मैच की लंबाई को देखते हुए यह न केवल टूरनामेंट की सबसे लंबी फाइनल बनी, बल्कि सभी ग्रैंड स्लैम फाइनल में दूसरी सबसे लंबी रही, 2012 के ऑस्ट्रेलिया ओपन फाइनल के बाद। 2022 में लागू हुए फाइनल‑सेट टाई‑ब्रेक का पहला प्रयोग भी इस मैच में हुआ, जिससे नियमों का नया अध्याय लिख दिया गया।

रैंकिंग की बात करें तो अल्काराज़ ने अपने 5‑0 ग्रैंड स्लैम्प फाइनल रिकॉर्ड को बनाए रखा, यह फ़ैशन रॉजर फेडरर के बाद ही संभव हुआ है, जिन्होंने अपने पहले पाँच फाइनल में भी जीत हासिल की थी। 22 साल, 1 महीने और 3 दिन की उम्र में वह बीजॉर्न बर्ग और राफ़ेल नडाल के साथ बराबर हुए, जिन्होंने भी पाँच बड़े खिताब इसी उम्र में जीते थे।

सिन्नर के लिए यह पहला हार था, जिन्होंने अपने पहले तीन ग्रैंड स्लैम्प फाइनल में लगातार जीत हासिल की थी। उन्होंने शुरुआती सेटों में अपनी ताकत दिखाते हुए तेज़ बैकहैंड और सटीक सर्विस से खेल को नियंत्रित किया, पर अल्काराज़ की निरंतर दबाव कौशल ने अंत में उन्हें हार के कगार पर ला दिया।

मैच के बाद दोनों खिलाड़ियों ने एक-दूसरे की प्रशंसा की, जो उनकी प्रतिद्वंद्विता की खूबसूरती को दर्शाता है। अल्काराज़ ने सिन्नर को "तुम इस टूर्नामेंट को जीतने के लिए बहुत मेहनत कर रहे हो, भविष्य में तुम कई बार चैंपियन बनोगे" कहकर सम्मानित किया। इस सम्मान से यह स्पष्ट होता है कि टेनिस में नई पीढ़ी की प्रतिस्पर्धा कितनी प्रेरक और सम्मानजनक है।

वर्ष 2025 में क्ले कोर्ट पर अल्काराज़ की पावर अब भी बरकरार है, उनका रिकॉर्ड 21‑1 रह गया, और सिन्नर के ऊपर चार लगातार जीत का सिलसिला जारी रहा। दोनों खिलाड़ियों के बीच अब तक कुल सात ग्रैंड स्लैम्प खिताब हैं – अल्काराज़ के पास चार और सिन्नर के पास तीन। उनका उठते-उठते चैंपियनशिप की राह इस बात का संकेत देती है कि टेनिस का भविष्य इन दो युवा सितारों के हाथों में है।

6 टिप्पणि
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    Amit Bamzai सितंबर 26, 2025 AT 03:07

    कार्लोस अल्काराज़ का दो साल लगातार जीतना टेनिस के इतिहास में एक उल्लेखनीय मील का पत्थर है। यह उल्लेखनीय है कि उन्होंने केवल 22 साल की उम्र में इस स्तर पर प्रदर्शन किया है। पहले दो सेट में उनका प्रदर्शन कमजोर दिखा, लेकिन वह हार नहीं मानी। तीसरे सेट में उन्होंने अपनी बॉल स्ट्रोक को सुधारते हुए सिन्नर को पीछे धकेल दिया। चौथे सेट में जब सिन्नर के पास मैच पॉइंट था, अल्काराज़ ने सभी तीन मैच पॉइंट बचाए। यह दृढ़ संकल्प उनका प्रमुख गुण है। पाँचवें सेट में टाई‑ब्रेक तक पहुँचना खुद में एक बड़ी उपलब्धि है। इस टाई‑ब्रेक में उन्होंने 10‑2 से जीत कर मैच को समाप्त किया। इस जीत से उन्हें ग्रैंड स्लैम फाइनल में 5‑0 रिकॉर्ड मिला है। यह रिकॉर्ड फेडरर के बाद ही संभव हुआ है। अल्काराज़ की इस जीत ने युवा टेनिस खिलाड़ियों को प्रेरित किया है। यह दर्शाता है कि उम्र के बावजूद निरंतर मेहनत महत्वपूर्ण है। टेनिस की रणनीति में मानसिक दृढ़ता का बड़ा योगदान है। इस मैच में उन्होंने अपनी सर्विस रिटर्न को अत्यधिक सटीक किया। अंत में उनका कोर्ट पर अभिवादन दर्शाता है कि सम्मान खेल में कितना महत्वपूर्ण है। कुल मिलाकर, यह मैच टेनिस के इतिहास में एक धरोहर के रूप में याद रहेगा।

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    ria hari अक्तूबर 5, 2025 AT 01:42

    वाह, अल्काराज़ ने आखिरकार उस दबाव को तोड़ दिया। दो सेट पीछे रहकर भी वापसी करना असामान्य नहीं होता, पर इतना लंबा फाइनल कम ही देखता हूँ। इस जीत से युवा खिलाड़ियों को सीख मिलती है कि हार मत मानो।

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    Alok Kumar अक्तूबर 14, 2025 AT 00:17

    क्या बात है इस मैट्रिक्स‑वायरस‑स्टाइल ग्लाइबिडिंग की? अल्काराज़ के एटिक स्टैबिलिटी रिकवरी कोक्लूज़न उन डिकोडिंग पैटर्न्स की फैंसी इंटरप्रिटेशन है। लेकिन सिन्नर की कॉर्नर‑बॉल क्वांटम ग्लिच ने कुछ हद तक ब्रेकपॉइंट सेट किया।

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    Nitin Agarwal अक्तूबर 22, 2025 AT 22:53

    इतिहास बन गया।

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    Ayan Sarkar अक्तूबर 31, 2025 AT 21:28

    देखो, इस मैच में फ्रेंच ओपन की सर्जिकल टाई‑ब्रेक प्रोसेस वास्तव में एक छिपे एलियन मॉड्यूल का हिस्सा हो सकती है, जो सिर्फ टॉप रैंक वाले खिलाड़ियों को ही ट्रिगर करती है।

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    Amit Samant नवंबर 9, 2025 AT 20:03

    अल्काराज़ का प्रदर्शन कई पहलुओं से प्रशंसनीय है। वह मानसिक दृढ़ता और तकनीकी कौशल का उत्कृष्ट मिश्रण प्रदर्शित करता है। इस परिपक्वता ने उन्हें इस कठिन फाइनल में सफल बनाया।

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